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गुजारिश मैं करूं तन्हा रहने की
कम्बक्त ये दिल रहने को राजी नहीं है,
सोचता हूं सोच लूं अपने बारे में
अभी भी बाजी हारी नहीं है ।।
~सुरु
कम्बक्त ये दिल रहने को राजी नहीं है,
सोचता हूं सोच लूं अपने बारे में
अभी भी बाजी हारी नहीं है ।।
~सुरु
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