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मक़ाम-ए-सुकूँ की तलाश में,
फिरता है क्यूँ दर-ब-दर।
कुछ किताबें ले साथ में,
और एक कोना ढूँढ ले।
-संदीप गुप्ता SandySoil
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मक़ाम-ए-सुकूँ की तलाश में,
फिरता है क्यूँ दर-ब-दर।
कुछ किताबें ले साथ में,
और एक कोना ढूँढ ले।
-संदीप गुप्ता SandySoil
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