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मेरी ख़ामोशियों का राज है तू,
दिल की धड़कनों का साज़ है तू।
वक़्त तो बहता हुआ दरिया है,
मैं जो कल तक था वही आज हूँ।
©गोपाल भोजक
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मेरी ख़ामोशियों का राज है तू,
दिल की धड़कनों का साज़ है तू।
वक़्त तो बहता हुआ दरिया है,
मैं जो कल तक था वही आज हूँ।
©गोपाल भोजक
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