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सारे गुनाह सहते सहते, मैं ही गुनाहगार हो गया हूं
खुद को बेचा है मैंने खुद मैं ही बाजार हो गया हूं।
जबतक ज़रुरत थी मेरी मुझे बहुत इज़्ज़त दे रहे थे,
अब जब मेरी ज़रूरत नहीं है तो मैं बेकार हो गया हूं।
तुम मुझे कुछ कह रहे थे मैंने कुछ भी सुना नहीं है,
अब मैं किसी की सुनता नहीं ह
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