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जिरह अच्छी नहीं
क्या हुआ अगर
तुम मेरे विचारों से सहमत नहीं
हर बात पर जिरह अच्छी नहीं
तुम अपने तथ्य रखो
मैं उन्हें ध्यान से सुनूँगा
सम्मान के साथ
थोड़ा मतभेद भी रखूँगा
मेरा और तुम्हारा व्यक्तित्व अलग है
विचार भी भिन्न हो सकते हैं
विश्लेषण की क्षमता
साथ तर्क भी अलग हो सकते हैं
क्यूँकि तुम तुम हो
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