हर कोई समझाता है।'s image
Poetry1 min read

हर कोई समझाता है।

sudha kushwahasudha kushwaha March 9, 2022
Share0 Bookmarks 31893 Reads1 Likes

हर कोई मुझे समझता है।

कभी मुझे भी समझ लो।

मेरा दिल भी यही चाहता है।

कोई तो घड़ी दो घड़ी।

मेरे दर्द को मेरी आंखों से पढ़ लो।

अरे कितना समझाओ गे।

कभी तो मुझे समझ लो।

अंदर से हर घड़ी मर रही हो।

कम से कम उसे महसूस कर लो।

टूट कर बिखर रही हूं मैं।।

कम से कम तुम दे

No posts

Comments

No posts

No posts

No posts

No posts