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एक आवाज़ गूँजती रही है
इस शोर में
जो मैंने कभी न सुननी चाही
तड़प उसकी समझती हूँ
साथ ही उसकी बेवफाई..
इस शोर में
जो मैंने कभी न सुननी चाही
तड़प उसकी समझती हूँ
साथ ही उसकी बेवफाई..
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