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ऐसी ही जिंदगी

shikha Singhshikha Singh April 23, 2022
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हां मैं ऐसी ही जिंदगी चाहता हूँ

मैं थका-हारा काम से वापस आऊं

आते ही मैं सोफे पे धम्म से बैठ जाऊं

और मुझमे इतनी भी ताकत ना रहे

कि मैं और कुछ कर सकूं,

हां मुझे ऐसी ही जिंदगी की लालसा है

जिसमें किसी चीज की फिक्र ही ना रहे,

दुखो पर ध्यान तो बिल्कुल न जाएं,

मैं खुद को थकाकर सबकुछ भूल जाना चाहता हूँ

हां मैं भूल जाना चाहता हूँ

तुम्हे,

तुम्हारे प्यार को

तुम्हारे साथ बिताए लम्हो को

तुम्हारी हंसी को

तुम्हारे दिए गए दर्द को

वो सबकुछ जो तुमसे जुड़ा हो

तुम्हे अपनी जिंदगी से निकाल बाहर करना चाहता हूँ

इसलिए मैं काम को चुनता हूँ

हां मैं खुद को चुनता हूँ ।

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