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ख्वाहिशों को उम्र बांध नहीं सकती
दूरियां थका नहीं सकती
असफलताएं रोक नहीं सकती
ये वो जज्बा है जो हर बांध को तोड़कर
मंजिल का रास्ता ढूंढ लेता है ।
मत सोचो तुम उम्र की किस पड़ाव पर हो
अपने जुनून को हर हाल में जिंदा रखो
जब तक जिस्म में जान है
ख्वाहिशों में उफान है ,
बढ़ते रहो दूरियां खुद ब खुद मिट जाएंगी ।।
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