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मेरी भाषा,
आज मैं तुम्हें धन्यवाद संदेश प्रेषित करना चाहती हूँ। यदि तुम ना होती तो मैं शायद ही खुद को अभिव्यक्त कर पाती, शायद ही मेरा कोई अस्तित्व होता।
पठन से पाठन, पाठन से लेखन और लेखन द्वारा औरों से मेरा संवाद तुम्हीं से तो है। मुझे खुशी होती है, जो मेरे पास मेरी भाषा बनकर तुम आई।
तुम्हारे जैसी अद्भुत भाषा और कोई हो नहीं सकती, हमेशा यूँ ही मेरे साथ रहना मेरी भाषा।
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