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दो ज़ुबानें ने मुझ को अलग-अलग बताया है
मैंने खुद को सच और उसे गलत बताया है
पोशाक पाक-साफ, इक धब्बा तक नहीं दिखता
लोगों ने उसे चलन का बदचलन बताया है
© रविन्द्र कुमार भारती
#RabindraKbgarti
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