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प्यार तुमको सौंपना है

R N ShuklaR N Shukla February 28, 2023
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तुम जरा आँचल पसारो
प्यार उसमें सौंपना है
प्यार उसमें सौंपना –
संसार उसमें सौंपना है
मन की सब कुंठा हटाओ 
प्यार उसमें सौपना है 

बाहें पसारे मैं खड़ा हूँ
आस के दामन को थामें
तुम हृदय का द्वार खोलो
जिंदगी का सार –
सारा सौंपना है
तुम जरा......

सामने हूँ मैं तुम्हारे
लो प्यार सारा ! सौपता हूँ !
तुम तनिक हृद को पसारो
प्यार के सब पुष्प 
उसको सौंपना है !

शुष्क-जीवन-तरु को तेरे 
स्नेह से रससिक्त कर
राग भरने के लिए –
अनुराग उसमें सौंपना है 
तुम जरा .....

ढेर सारी उपेक्षाएं 
झेल ली इस जिंदगी ने
अपनत्व भरने के लिए
संसार  सारा  सौंपना है
तुम जरा ....

जिंदगी भी कम पड़ी है
ग़म मिटाने के लिए !
तुम जरा सा पास आओ
पास रहने के लिए !

शिकवे-गिले सब भूल जाओ !
पास आओ , मैं खड़ा कब से –
निहारे बाट तेरी , मान जाओ !
भ्रमर बन मन के बगीचे में
जरा तुम गुनगुनाओ
दो मधुर ही बोल बोलो !
मुस्कुराओ ! 
शेष जीवन के लिए !

तुम जरा आँचल पसारो
दुलार सारा सौंपना है
तुम जरा आँचल पसारो 
प्यार उसमें सौंपना है !

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