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मेरे निगाहों में रहने वाला एक ख़्वाब हो तुम
मेरे सांसों में महकता हुआ गुलाब हो तुम
ये लोग मुझसे जलने लगे हैं आजकल
क्यों जलते हैं? इसका जवाब हो तुम
क्यों ना करूॅं तूझे पाने की आरज़ू रब से
आखिर इतने ज़्यादा लाज़वाब हो तुम
तुम्हारे बिना सब सूना सूना लगता है
मेरी दुनिया का रंग और महताब हो तुम
तुम्हें देखने को मेरी निगाहें हैं बेक़रार कबसे
क्या मुझसे मिलने के लिए बेताब हो तुम?
मेरे सांसों में महकता हुआ गुलाब हो तुम
ये लोग मुझसे जलने लगे हैं आजकल
क्यों जलते हैं? इसका जवाब हो तुम
क्यों ना करूॅं तूझे पाने की आरज़ू रब से
आखिर इतने ज़्यादा लाज़वाब हो तुम
तुम्हारे बिना सब सूना सूना लगता है
मेरी दुनिया का रंग और महताब हो तुम
तुम्हें देखने को मेरी निगाहें हैं बेक़रार कबसे
क्या मुझसे मिलने के लिए बेताब हो तुम?
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