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चिराग़ समझ कर... बुझाने में लगे है...
कइयो ने कोशिश कर ली
कई और मिटाने में लगे है
सदियों से ज़ालिम ज़माने वाले
नारियो को गिराने में लगे है
शायद चिराग़ समझ कर
फूँक मार कर बुझाने में लगे है
मगर भूल बैठे है वो नादां
क़तरा नहीं समन्दर है नारी
ख़ुद ही डूब जाएँगे वो सब
जो नारी को डुबाने में लगे है..!!
::नवाबज़ादा
@qamarkidwai
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