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एक एक कर उड़ गए परींदे सारे
सूनी हर डाली हो गई
जबसे सूख गया वो पड़े पुराना
किसी ने उसकी कद्र ना की
कभी घंटो गुजार
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एक एक कर उड़ गए परींदे सारे
सूनी हर डाली हो गई
जबसे सूख गया वो पड़े पुराना
किसी ने उसकी कद्र ना की
कभी घंटो गुजार
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