शिखर's image
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माँ को बिलखता छोड़कर

पिता से मुँह फेर कर

भाईओं के हक छीन कर

मैं शिखर पर पहुँच गया हूँ

सब कुछ पीछे छोड़छाड़ कर


घर आँगन बुलाए तो क्या

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