India Lockdown: फिल्म को मनोरंजन के लिए बिलकुल न देखें, महामारी की भयावहता की याद दिलाएगी
December 4, 2022इस दुनिया में हर चीज की कीमत होती है!
दुनिया और देश की वास्तविक स्थिति को इस फिल्म के माध्यम से जिस तरह से दिखाया गया है वो वास्तव में देखने लायक है! फिल्म में चार कहानियाँ एक साथ चलती हैं जो अलग अलग के संघर्षो के न्यूनतम संसाधनों के साथ आगे बढ़ रही होती हैं!
मुदाकरात्तमोदकं सदा विमुक्तिसाधकं
कलाधरावतंसकं विलासिलोकरक्षकम्।
अनायकैकनायकं विनाशितेभदैत्यकं
नताशुभाशुनाशकं नमामि तं विनायकम्॥
एक अकेला पिता और एक अकेली बेटी जिस तरह से अपनी जिंदगी जीते है! ठेले वालों का काम बंद होने के बाद उन्होंने किस तरह से अपनी जिंदगी आगे बढ़ाई, हर घर में राशन की समस्या! एक दूसरे के सामने छोटी छोटी बातों के लिए गिड़गिड़ना, क्या क्या नहीं दिखाया लकडाउन ने! हज़ारो किलोमीटर चलना फिर उसके बाद भी जिंदगी की मार. आँख खुली अंधे की, What लगी धंधे की, ऐसी समस्या जिसने सबको रुलाया! दूसरी तरफ लोगों ने किस तरह से जिंदगी जीने के और आगे बढ़ने के दूसरे विकल
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