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"सत्य की खोज"
सत्य की खोज में निकला मन,
विश्वास का करता संयोजन।
उथल पुथल का है कोहराम,
सत्यान्वेशी का संग्राम।
जब अत्यन्त विकट घेरे हो क्लांत,
तब अस्तित्व निकट मिटता हर भ्रान्त।
मरु संवेदन निर्विकार है,
हर मन का यही आधार है।
प्रकृति सत्य-ईश्वर सत्य जीवन आधार है,
है भी सत्य न है भी सत्य का रहता विचार है।
- © कामिनी मोहन पाण्डेय।
सत्य की खोज में निकला मन,
विश्वास का करता संयोजन।
उथल पुथल का है कोहराम,
सत्यान्वेशी का संग्राम।
जब अत्यन्त विकट घेरे हो क्लांत,
तब अस्तित्व निकट मिटता हर भ्रान्त।
मरु संवेदन निर्विकार है,
हर मन का यही आधार है।
प्रकृति सत्य-ईश्वर सत्य जीवन आधार है,
है भी सत्य न है भी सत्य का रहता विचार है।
- © कामिनी मोहन पाण्डेय।
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