पुस्तक समीक्षा : अंगूठी का भूत
लेखक : मनीश शर्मा
प्रकाशक: Ektara – A Joint Imprint Of Manjul Pratilipi
ISBN : 978-9390924417
पुस्तक “अंगूठी का भूत” एक ऐसी प्रेम कहानी है जो पुस्तक के मुख्य पात्र की लड़की नेहा के सपनो में चलती है लेकिन उन सपनो का असर सच की दुनिया में नेहा के प्रेम और प्रेमी अनिल पर होता है। प्रेम एक ऐसा रिश्ता है जिसके लिए किसी को भी; किसी भी सबूत की ज़रुरत नहीं होती. ये तो बस दिल से दिल के मिलने की बात है। दुनिया में तो ऐसे हजारो प्रेमी-प्रेमिकाएं पैदा हुए जिनकी प्रेम कहनियां बहुत उलट लगी और दुनिया ने उसे स्वीकार नहीं किया लेकिन उनका प्रेम अमर हो गया।
दुनिया में ऐसी हजारों प्रेम कहानियां भी हैं और हो चुकी हैं; जिन्हें कोई जानता तक नहीं लेकिन उनकी भी कहानियां अमर हैं। इस ब्रह्माण्ड की श्रृष्टि ही प्रेम पर है। दुनिया में मौजूद हर धर्म के लोग प्रेम करते हैं और हर मज़हब भी प्रेम करना ही सिखाता है।
ये प्रेम कहानी भी आपको पढ़ते हुए महसूस होगा कि एक भूत को भी प्रेम हो सकता है और एक भूत से भी किसी को अथाह प्रेम हो सकता है। प्रेम तो बिलकुल महसूस करने के एहसास होते हैं; इसे सिर्फ महसूस किया जा सकता है और महसूस करवाया जा सकता है लेकिन प्रेम बहुत सारे लोगो की बर्बादी का कारण भी बनती है।
आखिर एक लड़की की भूत से मुलाकत कैसे हुई? सपने में प्रेम का क्या मतलब है? क्या इस कहानी का मुख्य किरदार भी प्रेम में बर्बाद हो जाएगी? या उसका वो सपना कहीं सच होगा? उसका असली दुनिया के प्रेम का क्या होगा? उसके प्रेमी का क्या होगा?
ऐसे ही और भी बहुत सारे सवाल पैदा होते जायेंगे और आप किताब पढ़ते हुए अपने सवालों की उलझी पहेली को सुलझाते जायेंगे। किताब की कहानी आगे बढ़ते हुए सवाल छोड़ते जाती है और अंत होते-होते उनके जवाब भी मिलते जाते हैं।
लेखक का परिचय:
“मनीश शर्मा” फ़िलहाल न्यूज़ एबीपी न्यूज़ में सीनियर पप्रोड्यूसर के तौर पर काम कर रहें हैं। पिछले 14 वर्षों से एबीपी न्यूज़ के साथ जुड़े हुए हैं और 20 साल के कैरियर में करीब 12 साल टीवी पर एंकरिंग कर चुके हैं। स्टार न्यूज़, जी न्यूज़, इ टीवी मध्य प्रदेश, और ई टीवी में भी एंकर का काम कर चुके हैं। पेशे से पत्रकार हैं लेकिन दिलचस्पी अपने को अभिव्यक्त करने में रही है। स्वच्छता मिशन पर एक व्यंग संग्रह “गन्दगी के
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