
Share0 Bookmarks 66 Reads0 Likes
साल की बीती बातें यू तो पुरानी हो जाती हैं,
पर, आपकी यादें आज भी मेरे आँखों को नम कर जाती है।
बिछड़ गए हम..क्या करें? यही था किस्मत को मंज़ूर,
काश भगवान के दर पर होता पल भर मिलने का दस्तूर।
चुभन यही है मेरे दिल को कि, आप पास नहीं,
रहे साया पापा का हमेशा, किस बेटी का यह अरमान नहीं?
क्या करूं ऐसा जिससे मेरा दिल हल्का हो जाए,
बस यही सोच थी मेरी के मेरी रूह भी आपकी तरफ विदा हो जाए।
दिल को सुकून न था, ग़मों का पहाड़ था,
आप आए सपने में मेरे, दिल खुश था।
गले से लगाया आपने, और सर पर हाथ फेराया,
क्या बताऊं पापा मेरे इस उदास दिल को बहुत सुकून आया!
साथ हमेशा रहना ओ पापा, न छोड़ना अकेला मुझको
आते रहना ख्वाबों मे, कभी प्यार करने मुझको।
मेरे प्यारे पापा, आपसे बस यही चाहती हूँ मैं,
अपने साये में रखना मुझको, बस यही दुआ माँगती हूँ मैं।
No posts
No posts
No posts
No posts
Comments